टीकमगढ़ जिला अभियोजन अधिकारी आलोक कुमार श्रीवास्तव के निर्देशन में विशेष लोक अभियोजक नर्मदांजलि दुबे द्वारा की गई। विशेष लोक अभियोजक द्वारा घटनाक्रम के बारे में जानकारी देते हुये बताया कि मामला थाना खरगापुर जिला टीकमगढ़ का होकर माननीय विशेष न्यायाधीश (पॉक्सो एक्ट), टीकमगढ़ के न्यायालय में विचाराधीन था जिसमें विशेष न्यायाधीश द्वारा नाबालिग के साथ बलात्कार करने के आरोप में दोषी पाते हुये अभियुक्त धनीराम उर्फ मनुआ लोधी आत्मज प्यारेलाल लोधी को धारा 363 भा०दं०सं० में 3 वर्ष का सश्रम कारावास व पांच सौ रूपये अर्थदण्ड तथा धारा – 5(ड) पॉक्सो एक्ट में आजीवन कारावास एवं एक हजार रूपये के अर्थदंड से दण्डित किया गया।
घटना इस प्रकार है अभियोक्त्री की मां द्वारा थाना खरगापुर में अभियोक्त्री के साथ उपस्थित होकर यह रिपोर्ट लेख कराई गई कि घटना दिनांक 20.09.2022 को 11 साल की उसकी पुत्री सुबह खाना खाकर स्कूल गयी थी, काफी देर तक घर नहीं आई, तब अभियोक्त्री की बड़ी बहिन उसे ढूढने निकली। जब अभियोक्त्री की मां शाम 6 बजे खेत से वापस आयी तब उसे अभियोक्त्री की बड़ी बहिन ने बताया कि जब वह अभियोक्त्री को स्कूल में ढूढ़ने गई थी, तो वहां उसके न मिलने पर उसने आस-पास देखा, तो उसे अभियुक्त धनीराम उर्फ मनुआ के खेत पर बनी झोपड़ी के अंदर अभियोक्त्री दिखाई दी। अभियोक्त्री के साथ अभियुक्त धनीराम उर्फ मनुआ गलत काम कर रहा था, जैसे ही अभियुक्त धनीराम ने अभियोक्त्री की बहिन को देखा, तो वह वहां से भागने लगा और भागते हुए उसने अभियोक्त्री की बहिन से कहा कि इस बारे में किसी को बताया, तो जान से मार डालूगां। अभियोक्त्री ने अपनी मां के पूछे जाने पर यह पूरी घटना मां को बताई और यह भी बताया कि धनीराम उर्फ मनुआ पहले भी उसके साथ गलत काम करता था और किसी को न बताने का कहकर जान से मारने की धमकी देता था इसलिये डर के कारण उसने किसी को नहीं बताया। अभियोक्त्री की मां द्वारा सूचना दिये जाने पर थाना खरगापुर में पदस्थ निरीक्षक मैना पटेल द्वारा मामले की प्रथम सूचना रिपोर्ट लेखबद्ध करते हुये प्रकरण में आवश्यक अनुसंधान कार्यवाही की गई।
संपूर्ण विवेचना उपरांत अभियुक्त के विरूद्ध विचारण चलाये जाने हेतु अभियोग पत्र माननीय न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किया गया। विचारण के दौरान अभियोजन द्वारा प्रकरण में कुल 13 अभियोजन साक्षीगण को परीक्षित कराया गया एवं सभी महत्वपूर्ण दस्तावेजों को साक्ष्य के तौर पर प्रस्तुत किया गया। अभिलेख पर अभियोजन द्वारा प्रस्तुत की गई मौखिक, दस्तावेजी साक्ष्य तथा अंतिम तर्क के आधार पर माननीय विशेष न्यायाधीश द्वारा अभियुक्त धनीराम उर्फ मनुआ लोधी आत्मज प्यारेलाल को धारा 363 भा०दं०सं० में 3 वर्ष का सश्रम कारावास व पांच सौ रूपये अर्थदण्ड तथा धारा – 5(ड) पॉक्सो एक्ट में आजीवन कारावास एवं एक हजार रूपये के अर्थदंड से दण्डित किया है।
रिपोर्ट -सालिम खान ब्यूरो टीकमगढ़
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