Policewala
Home Policewala नीतू की पढ़ाई में टीबी नहीं बन सकी रोड़ा, जागरूक होकर टीबी की कड़ी को तोड़ा ।
Policewala

नीतू की पढ़ाई में टीबी नहीं बन सकी रोड़ा, जागरूक होकर टीबी की कड़ी को तोड़ा ।

छत्तीसगढ़

सुकमा

छिंदगढ़ विकासखंड के ग्राम पंचायत पुसपाल की 13 वर्षीय छात्रा नीतू बघेल ने स्वास्थ्य सुविधाओं का लाभ लेकर क्षय रोग के पल्मोनरी व एक्सट्रा पल्मोनरी (लिम्फनोड) बीमारी को मात देकर नर्स बनने का सपना को पुरा करने की उम्मीद में जुट गई है। स्वस्थ होने के बाद नीतू के चेहरे पर प्यारी सी मुस्कान  और सपनों को पूरा करने के लिए आंखों में स्कूल जाने की आतुरता भी दिखीं। इस वर्ष नीतू ने 12वीं कक्षा में विज्ञान संकाय से परीक्षा दी है। भाई फूलचंद ने नीतू के बीमार अवस्था में मदद करके टीबी के जंजीर से मुक्त कराया। निःशुल्क स्वास्थ्य लाभ लेकर रोग से मुक्त हुई नीतू ने खुशी जाहिर करते हुए शासन प्रशासन का आभार व्यक्त किया।
शासन प्रशासन द्वारा किये जा रहे सतत प्रयास और जागरूकता के विकास का परिणाम है कि आमजन बीमारियों के प्रति जागरूक होकर पारंपरिक चिकित्सा पद्धति के साथ ही स्वास्थ्य सुविधाओं का लाभ लेने के लिए स्वास्थ्य केंद्र तक पहुंच रहे हैं। स्वास्थ्य के क्षेत्र में लगातार विस्तार करके राज्य के प्रत्येक व्यक्ति को योजनाओं का लाभ प्रदान करने सहित स्वास्थ्य सुविधाएं मुहैया कराने के लिए सरकार कटिबद्ध है।

नीतू बघेल के भाई फूलचंद ने बताया कि नीतू बचपन से ही पढ़ाई में बहुत होशियार है, तीन भाई और दो बहनों में नीतू सबसे छोटी है। टीबी रोग से पिताजी के देहांत के 3-4 साल बाद नीतू को चेचक, खुजली, खांसी की बीमारी होने लगी, उस समय वह 13 वर्ष की थी, इस बीमारी से निजात पाने के लिए उन्होंने घरेलू नुस्खे, देशी दवाई, सिराह गुनिया का भी सहारा लिया। बीमारी के बढ़ते संक्रमण से नीतू के शारीरिक वजन में कमी, कमजोरी सहित कई स्वास्थ्यगत परेशानियों होने लगी। कृषक व्यवसाय से संबंध रखने वाले फूलचंद ने आर्थिक परेशानियों को दरकिनार करके 8वीं कक्षा में अध्ययनरत नीतू के पढ़ाई के प्रति जुनून और दृढ़ इच्छाशक्ति को देखकर पुसपाल स्वास्थ्य केन्द्र के चिकित्सक के परामर्श पर जिला अस्पताल में इलाज करवाने लाये। जहां नीतू को टीबी के पल्मोनरी एक्सट्रा पल्मोनरी(लिम्फनोड) बीमारी की पहचान हुई। जिला टीबी व एचआईवी समन्वयक श्री जयनारायण सिंह ने नीतू को दवा प्रदान कर 8 महीने तक नियमित सेवन करने की सलाह दी गई। साथ ही रोग से उभरने के लिए प्रति माह फूड बॉकेट भी प्रदान की गई।
समय पर सही इलाज से नीतू अब स्वस्थ है और चेहरे पर प्यारी सी मुस्कान लिये अपने सपनों को पूरा करने के लिए उसकी आंखों में स्कूल जाने की आतुरता फिर से दिखने लगी है।
( राजीव खरे स्टेट ब्यूरो चीफ़ छत्तीसगढ़)

Leave a comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Related Articles

इंदौर के धोबी घाट पर धोबी समाज के लोगों की हुई बैठक हिंदूवादी भी हुए शामिल

इंदौर मध्य प्रदेश इंदौर के महापौर द्वारा धोबी घाट पर क़र्बला कमेटी...

इंदौर में पहली बार श्री तिलकेश्वर पार्श्वनाथ प्रभु का 31 घंटे का अखंड जाप

इंदौर मध्य प्रदेश मुनिवर श्री ऋषभचंद्रसागर म. सा. की निश्रा एवं श्री...

जबलपुर को उसका अधिकार मिले…पुणे वायुसेवा तथा नियमित ट्रेन आरम्भ हो…

जबलपुर   आज जबलपुर संघर्ष समिति के प्रतिनिधि मंडल ने राज्यसभा सांसद...

बिना माचिस के हवन कुण्ड में आग लगाना, आग से खेलना के प्रायोगिक कार्यक्रम से किया अन्धविश्वास पर वार

फिरोजाबाद सिरसागंज:- विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद उत्तर प्रदेश के अंतर्गत जिला विज्ञान...