बिलासपुर, 22 जनवरी 2025
छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने एक महत्वपूर्ण मामले में कोंडागांव कलेक्टर को निर्देश दिया है कि वे याचिकाकर्ता के मोबाइल टॉवर किराये का भुगतान 20 दिनों के भीतर सुनिश्चित करें। कोर्ट ने रिलायंस जिओ कंपनी के साथ याचिकाकर्ता के अनुबंध की प्रक्रिया को जल्द से जल्द पूरा करने और अब तक की लंबित किराया राशि का भुगतान कराने का स्पष्ट आदेश दिया है।
याचिकाकर्ता ने कोर्ट में याचिका दायर कर शिकायत की थी कि उनके स्वामित्व वाली भूमि पर स्थापित मोबाइल टॉवर के लिए रिलायंस जिओ कंपनी द्वारा किराये का भुगतान नहीं किया गया है। इस मामले में कोंडागांव कलेक्टर को आवश्यक कार्रवाई के लिए कई बार सूचित किया गया, लेकिन कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया।
कोर्ट ने मामले को गंभीरता से लेते हुए प्रशासनिक लापरवाही करार दिया और इसे अनुचित तथा नागरिक अधिकारों के हनन का मामला बताया।
कोर्ट ने कोंडागांव कलेक्टर को आदेश दिया है:
1.याचिकाकर्ता और रिलायंस जिओ के बीच अनुबंध की प्रक्रिया 20 दिनों के भीतर पूरी की जाए।
2.अनुबंध के लंबित रहने के दौरान हुई किराये की राशि का तुरंत भुगतान कराया जाए।
3.यह सुनिश्चित किया जाए कि भविष्य में इस प्रकार की देरी और विवाद से बचा जा सके।
न्यायमूर्ति ने कहा कि प्रशासनिक प्रक्रिया में इस तरह की देरी नागरिकों को आर्थिक और मानसिक नुकसान पहुंचाने का कारण बनती है। उन्होंने कहा कि अनुबंध और भुगतान के मामले में पारदर्शिता और समयबद्धता बनाए रखना प्रशासन की जिम्मेदारी है।
याचिकाकर्ता ने कोर्ट के इस आदेश का स्वागत करते हुए इसे न्याय की जीत बताया। उनका कहना है कि यह फैसला उन सभी लोगों के लिए उदाहरण बनेगा जो प्रशासनिक लापरवाही के शिकार होते हैं।
इस फैसले के बाद कोंडागांव जिला प्रशासन पर किराया भुगतान और अनुबंध प्रक्रिया को तेजी से निपटाने का दबाव बढ़ गया है। वहीं, रिलायंस जिओ कंपनी को भी स्पष्ट निर्देश दिए गए हैं कि वह अनुबंध को लेकर आवश्यक दस्तावेज और भुगतान प्रक्रिया में विलंब न करे।
यह मामला न केवल प्रभावित पक्ष के लिए राहत लेकर आया है, बल्कि यह प्रशासन और कॉर्पोरेट कंपनियों के लिए भी एक चेतावनी है कि वे अनुबंध और भुगतान मामलों में पारदर्शिता और संवेदनशीलता बनाए रखें।
इस फैसले से यह संदेश गया है कि न्यायालय नागरिक अधिकारों की रक्षा के लिए तत्पर है और किसी भी प्रकार की प्रशासनिक या कॉर्पोरेट लापरवाही को बर्दाश्त नहीं करेगा।
( राजीव खरे ब्यूरो चीफ़ छत्तीसगढ़ )
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