बाबा भोलेनाथ की नगरी काशी वाराणसी नित्य प्रतिदिन बढ़ रही अपराधिक घटनाओं के कारण चर्चा का विषय बनी हुई है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संसदीय क्षेत्र होने के बावजूद भी वाराणसी में एक के बाद एक घट रही घटनाएं कम होने का नाम नहीं ले रही।
लालपुर थाना क्षेत्र की चर्चित गैंगरेप की घटना ने तो पूरे प्रदेश को हिला दिया है। क्योंकि जब प्रधानमंत्री का संसदीय क्षेत्र ही सुरक्षित नहीं रह गया है तो पूरे भारत की क्या बात की जाए।
यह बात अलग है कि जब प्रधानमंत्री वाराणसी आते हैं तो उनकी सुरक्षा से लेकर किसी भी व्यवस्था में जरा सा भी चूक नहीं होती है, पूरा शासन प्रशासन चुस्त दुरुस्त मुस्तैद अपनी क्षमता का लोहा मनवाता है।
लेकिन वही शासन प्रशासन जन सुरक्षा को सही ढंग से क्यों नहीं कर पा रहा।
प्रधानमंत्री या कोई बड़ा राजनीतिज्ञ जब वाराणसी आता है तब होटल और रेस्टोरेंटों की सघन तलाशी की जाती है, जिससे कि सुरक्षा व्यवस्था में कोई कमी ना हो,,, लेकिन यही सघन तलाशी अगर नियमित की जाती तो अपराधियों में भय का माहौल अपने आप रहता
आखिर क्यों नहीं हो पाती होटल और रेस्टोरेंटों की नियमित निगरानी
वाराणसी में कुछ वर्षों के अंदर होटल और रेस्टोरेंटों की बाढ़ सी आ गई है,स्टूडेंटों को लुभाने के लिए कॉलेजों के आसपास ज्यादातर रेस्टोरेंट खुल रहे हैं
जिसमें बिना आधार कार्ड के ही युवक और युवतियों की एंट्री होती रहती है। कॉलेज ड्रेस में रहने के बावजूद भी छात्र-छात्राओं की भी एंट्री इन होटल और गेस्ट हाउस में सरेआम होती रहती है। जाहिर है प्रशासन के कुछ शुभचिंतकों का आशीर्वाद होगा उनके ऊपर तभी कॉलेज ड्रेस में भी छात्र-छात्राओं का आना-जाना इन होटल और गेस्ट हाउस में लगा रहता है।
मोटी रकम कमाने के चक्कर में होटल और गेस्ट हाउस संचालकों ने पता नहीं कितनी छात्राओं की इज्जत अपने संस्थानों में नीलाम करवाई होगी। नशे की आगोश में ले जाकर उनके जिस्म को नुचवाया होगा।
बहुत से राज अपने आप खुलकर बाहर आएंगे जब सही जांच होने पर सच्चाई सामने आएगी क्योंकि बहुत सारे होटल और गेस्ट हाउस रेस्टोरेंट कुर्ता पजामा वाले लोगों के भी चल रहे हैं
अकेले लालपुर थाना क्षेत्र की बात करें तो रिंग रोड के आसपास और थाना क्षेत्र के कॉलेजों से कुछ दूर- होटल, रेस्टोरेंट, गेस्ट हाउसों की भरमार है।
बढ़ रहे अपराधिक घटनाक्रम में धार्मिक नगरी वाराणसी में हुक्का बार का भी खुलना व और बिना किसी रोकटोक नशे का व्यापार करना हुक्का बार मालिकों का धंधा हो चुका है। काशी गैंगरेप में शहर में स्थित हुक्का बार, के साथ-साथ होटल और गेस्ट हाउस का चर्चा का विषय बनना भी यही इंगित करता है बाबा भोले की नगरी वाराणसी में होटल रेस्टोरेंट गेस्ट हाउस समेत ठहरने के सभी स्थानों की नियमित जांच की जाए सही में गैंगरेप और अन्य घटनाओं को जड़ से उखाड़ा जा सकता है
प्रधानमंत्री का संसदीय क्षेत्र होने के नाते VIP दौरा हमेशा लगा रहता है जिसके कारण वाराणसी कमिश्नरेट के जांबाजों को ज्यादा समय शहर के अंदर ही देना होता है।
आए दिन किसी न किसी बड़े नेता के आने के चलते ज्यादातर अमला उनकी हिफाजत और सुरक्षा के लिए तैनात रहता है जिससे प्रशासनिक तौर पर जनमानस के बीच समुचित मौजूदगी नहीं हो पाती।
प्रदेश के मुखिया योगी आदित्यनाथ को इन मामलों को गंभीरता से लेते हुए वाराणसी की सुरक्षा के लिए सख्त कदम उठाने चाहिए जिससे कि वाराणसी में घट रही घटनाओं की पुनरावृत्ति ना हो। अब देखना यह है कि वाराणसी में अवैध और नियम को ताक रखकर चलने वाले होटल और रेस्टोरेंटों के ऊपर बाबा का बुलडोजर कब चलता है।
रिपोर्ट-प्रभुपाल चौहान
मंडल ब्यूरो चीफ वाराणसी
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