जगदलपुर
“बीजापुर:बीजापुर के अंतिम छोर में बसे भोपालपटनम अनुभाग मुख्यालय से लगभग 12 किलोमीटर दूर बसे गोरला ग्राम पंचायत का आश्रित गांव मिनुर का संपर्क बारिश के दिनों में टूट जाता है. इस दौरान यहां के लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. इस कारण इंद्रावती नदी के साथ पहाड़ी नदी और नालों से मिलकर बनी चिंतावागु उफन जाती है. फ्री में मिलने वाली सरकारी सुविधाओं के लिए जान-जोखिम में डालने को मजबूर हैं. केंद्र और राज्य सरकार बड़े-बड़े दावें करते हैं कि जनता को मुफ्त राशन, स्वास्थ्य सुविधाएं मिल रही हैं. हालांकि चिंतावगु नदियां उफान में आते ही सरकार के ये दावें फेल हो जाते हैं.कुछ इस तरह नदी पार करते हैं ग्रामीण: दरअसल, बीजापुर जिले के अंदरूनी गांवों में आज भी लोगों को मूलभूत सुविधाओं के लिए दो-चार होने पड़ रहा है. गोरला पंचायत के मीनूर के ग्रामीणों की समस्या साल-दर-साल बदतर हो रही है. फ्री राशन और स्वास्थ्य सुविधाओं के लिए अपनी जिंदगी को हर बार दांव पर इनको लगाना पड़ता है. बारिश के दिनों में मिनुर गांव के लोगों की मजबूरी यह है कि रोजमर्रा के सामानों के लिए रोज उफनते नदी को पार करना पड़ता है. इन दिनों नदी का बहाव कुछ हद तक कम होने के बाद ग्रामीण अपनी जरूरतों का सामान लेने के लिए नदी के अंतिम छोर को पकड़कर नदी पार करते नजर आए. ये ग्रामीण गांव के उस पार बसे उफनती नदी में जान जोखिम में डालकर बर्तन को सहारा बनाकर नदी पार कर अपनी जरूरत का सामान लेकर आए.
जानिए क्या कहते हैं ग्रामीण:वहीं, गांव के लोगों का कहना है कि प्रशासन की उदासीनता के कारण कई सालों से यहां पुल निर्माण की मांग अधूरी है. गांव की एक महिला ने बताया कि घर में राशन खत्म हो चुका था. कई दिनों से बारिश हो रही थी. राशन लेने आए हैं, जबकि बारिश में इसकी व्यवस्था गांव में ही करनी चाहिए. बरसात के 3 महीने नदी की वजह से बड़ी मुश्किलें ह�
हरिहर सिंह ठाकुर पुलिस वाला न्यूज जगदलपुर
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